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Cyber Fraud Case: लोन का झांसा दे महिला से ठगी, बैंक अधिकारी के खाते से उड़ाये 10 लाख

Cyber Fraud Case:

Cyber Fraud Case: खम्हारडीह थाना परिक्षेत्र के श्री रामनगर निवासी निजी बैंक की महिला अधिकारी को साइबर ठगों ने निशाना बनाया।

Cyber Fraud Case रायपुर। शहर के प्रायवेट बैंक की महिला अधिकारी को ही साइबर ठगों ने अपना शिकार बना लिया। उनके क्रेडिट कार्ड से 10 लाख रुपए ऑनलाइन उड़ा दिए। ठगों ने बाकायदा पहले महिला अधिकारी के क्रेडिट कार्ड का लिमिट बढ़ा देने का झांसे समेत अन्य प्रलोभन दिए।

खम्हारडीह थाना परिक्षेत्र के श्री रामनगर निवासी निजी बैंक की महिला अधिकारी को साइबर ठगों ने निशाना बनाया। जिसमें ठग कामयाब रहे। इसलिए कि उन्होंने वित्तीय मामलों की गहरी जानकार महिला बैंक अधिकारी को झांसा दे ठगा। बताया जा रहा है कि पहले ठगों ने क्रेडिट कार्ड का सीमा बढ़ा देने समेत अन्य कई झांसे दिए। फिर आगे बढ़े और लोन मंजूर कराने का झांसा देकर क्रेडिट कार्ड नंबर ले लिया और उसमें से 9 लाख 90 हजार रुपए कई किस्तों में उड़ा दिए।

न साइबर सेल को सूचना दी न मांगी मदद

जब तक महिला बैंक अधिकारी शक करती, तब तक ठगों ने अपना खेल खेल चुका था। तब उन्होंने थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई तो 420 के तहत जुर्म दर्ज किया गया। खम्हारडीह थाने ने अभी तक साइबर थाने को रिपोर्ट नही भेजी है। न ही मदद मांगी है। महिला अधिकारी ने भी साइबर थाने को सूचित नहीं किया। महिला के मोबाइल पर तीन अलग-अलग नंबरों से कॉल करके फ्रॉड को अंजाम दिया गया। सबसे पहले ठगों ने प्रार्थिया के आईसीआईसीआई बैंक के क्रेडिट कार्ड के बारे में जानकारी पूर्व से थी। पहले क्रेडिट कार्ड का लिमिट बढ़ाने फिर इंस्टा लोन की बात कर उलझाया और उसी प्रक्रिया के लिए 9 लाख 90 हजार रुपए अपने खाते में कई किस्तों में धीरे-धीरे करके ट्रांसफर कर लिया। कई अन्य जरूरी नंबर भी ले लिए थे ।

सेना-पुलिस से लेकर शेयर ट्रेडर और डॉक्टर भी बने शिकार

गौरतलब हो कि साइबर ठगी के लिए नए-नए पैतरे आजमा रहा है, ताकि सामने वाले को शक न हो। इन नए पैतरों में फंसकर आमतौर पर ज्यादातर प्रार्थी पूर्व के साइबर ठगी की खबरों को भूल जाते है। या उससे तुलना या शक नही करते। साइबर ठग कई तरह से पैंतरा आजमा रहे है जैसे बच्चों का अपहरण,एक्सीडेंट, घर बैठे कमाई,शेयर बाजार से निवेश, चोरी गए सेलफोन के पेटीएम से, सेना के अफसर, डॉक्टर, सरकारी कर्मचारी, व्यवसायिक आदि लोग इनके शिकार होते है।

(लेखक डा. विजय)

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