Wed. Apr 30th, 2025

HMP वायरस के मिल रहे केसों को लेकर महाराष्ट्र सरकार अलर्ट, बुलाई इमरजेंसी मीटिंग

महाराष्ट्र कोविड टास्क फोर्स के सदस्य डॉ राहुल पंडित ने इस वायरस के बारे में जानकारी दी है और कहा है कि यह सामान्य फ़्लू निमोनिया जैसा है। इससे अधिक केसेस दूसरी वायरल बीमारी के हमारे पास आते हैं।


मुंबई:
देश में HMP वायरस के मामले बढ़ रहे हैं। नागपुर में भी 2 संदिग्ध मरीज मिलने के बाद महाराष्ट्र सरकार अलर्ट मोड में आ गई है। एचएमपी वायरस को लेकर स्वास्थ्य मंत्री प्रकाश अबिटकर ने स्वास्थ्य विभाग की आपात बैठक बुलाई है। इस बैठक में केंद्रीय स्वास्थ्य राज्य मंत्री प्रतापराव जाधव भी शामिल होंगे। आज दोपहर 3 बजे मुंबई के सेंट जॉर्ज अस्पताल स्थित आरोग्य भवन में इस बैठक का आयोजन होगा।

नागपुर में भी एचएमपी वायरस के 2 मरीज मिले

नागपुर में भी एचएमपी वायरस के 2 मरीज मिले हैं। दो बच्चों की रिपोर्ट एचएमपी पॉजिटिव आई है।  3 जनवरी को निजी अस्पताल में सात साल के बच्चे और 14 साल की बच्ची की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। इन दोनों बच्चों को खांसी और बुखार था।

डॉक्टर का क्या कहना है?

महाराष्ट्र कोविड टास्क फ़ोर्स के सदस्य डॉ राहुल पंडित ने कहा कि HMPV (ह्यूमन मेटान्यूमो वायरस) से पैनिक होने की बिल्कुल जरूरत नहीं है। यह कोई नया वायरस नहीं है। यह कोविड से भी पुराना वायरस है। बता दें कि डॉक्टर राहुल पंडित सांस की बीमारी से संबंधित सुप्रीम कोर्ट से नियुक्त टास्क फोर्स के मेंबर हैं। वह मुंबई में एचएन रिलायंस हॉस्पिटल आईसीयू यूनिट के प्रमुख भी हैं।

उन्होंने कहा कि 2001 में इसके केसेस नीदरलैंड में पाये गए थे । हर वायरस में म्यूटेशन होता है पर यह घटक नहीं है। यह सामान्य फ़्लू निमोनिया जैसा है। इससे अधिक केसेस दूसरी वायरल बीमारी के हमारे पास आते हैं। इसके लक्षण सर्दी खांसी जैसे हैं लेकिन इसमें मृत्युदर बेहद कम है, जो कैंसर, हाई शुगर और अन्य गंभीर बीमारी से ग्रसित होते हैं, उन्हीं को थोड़ा ज्यादा ख्याल रखना होता है। संक्रमण के बाद मरीज सात दिनों में एकदम ठीक हो जाता है।

डॉक्टर ने कहा कि अभी बच्चों में ये इसलिए ज्यादा पाया जा रहा है क्योंकि उनके शरीर में एंटीबॉडीज तैयार हो रही हैं। जो बड़े उम्र के लोग हैं, उनको यह होकर ही गया होगा लेकिन उनके शरीर में पहले से एंटी बॉडीज तैयार हैं। लोग पैनिक ना हों, दो तीन दिन में सर्दी, खांसी, बुख़ार ठीक नहीं होता तो डॉक्टर की सलाह लें। खुद से टेस्ट ना कराएं। इसमें हॉस्पिटल में दाखिल होने की ज्यादा जरूरत नहीं है।

उन्होंने कहा कि जिस तरह कोविड में गाइडलाइंस को फॉलो करते थे, उसी तरह इसमें भी सर्दी, खांसी में रुमाल का इस्तेमाल करें और हाथ धोएं। ICMR की जो गाइडलाइंस हैं, उन्हीं पर अमल करें, सोशल मीडिया की बातों पर ध्यान ना दें। यह एक सामान्य वायरस है, जिससे घबराने की जरूरत नहीं है।

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