Ram Mandir Museum : TATA Group अयोध्या में 650 करोड़ की लागत से बनाएगा अंतरराष्ट्रीय स्तर का दर्शनीय संग्रहालय

Ram Mandir Museum : धार्मिक दृष्टि से देश में पर्यटन का बड़ा केंद्र बनकर उभरे अयोध्या में राम मंदिर के बाद अब मंदिर संग्रहालय बनाया जाएगा।
Ram Mandir Museum रायपुर। धार्मिक दृष्टि से देश में पर्यटन का बड़ा केंद्र बनकर उभरे अयोध्या में राम मंदिर के बाद अब मंदिर संग्रहालय बनाया जाएगा। जिसकी अनुमानित लागत 650 करोड़ रुपये है। इसके अलावा कैबिनेट ने अयोध्या में विकास कार्यों के लिए 100 करोड़ रुपये की मंजूरी भी दी। प्रदेश के लखनऊ, प्रयागराज और कपिलवस्तु में पीपीपी मॉडल पर हेलीपोर्ट बनाने को भी मंजूरी दी गई। हेलीपोर्ट बनने के बाद इन जगहों पर पीपीपी मॉडल पर हेली सेवाएं शुरू की जाएंगी।
गौरतलब हो कि अयोध्या में जनवरी माह में रामलला मंदिर का उद्घाटन होने के बाद वहां रोजाना हजारों लोग अपने आराध्य के दर्शनार्थ पहुंच रहे हैं। बस, रेल, वायु, परिवहन सेवा अत्याधुनिक एवं वृहद कर दी गई है। ठहरने के नाम पर वहां पर बड़े होटल खुल गए हैं। शहर विकसित हो रहा है। इस क्रम में रामनगरी में 650 करोड़ की लागत वाला मंदिर संग्रहालय बनाया जाएगा। अंतरराष्ट्रीय स्तर का यह संग्रहालय सामाजिक उत्तरदायित्व (सीएसआर) के तहत टाटा सन्स बनवाएगा जो कि टाटा औद्योगिक समूह की प्रमुख निवेश होल्डिंग कंपनी है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में कैबिनेट की बैठक
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में इस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी गई है। इस संग्रहालय के लिए राज्य का पर्यटन विभाग टाटा संस को एक रुपए टोकन मनी पर 90 साल की लीज पर जमीन देगा। बताया जा रहा है कि संग्रहालय राम मंदिर से जुड़ी पैराणिक एवं अन्य महत्वपूर्ण वस्तुएं रखी जाएगी। विशेषज्ञों के अनुसार इस प्रस्तावित संग्रहालय से पर्यटको, भक्तों को राम जन्मभूमि, संघर्ष, मामला, मंदिर निर्माण एवं अयोध्या समेत राज्य के अन्य प्रसिद्ध धार्मिक स्थलों को जानने-समझाने का मौका मिलेगा।
पर्यटन मंत्री ने दी जानकारी
पर्यटन मंत्री जयवीर सिंह का कहना है कि पर्यटकों और श्रद्धालुओं की आवाजाही राम मंदिर, हनुमान गढ़ी, कनक भवन आदि जगहों तक सीमित है। युवाओं, विदेशियों को सनातन संस्कृति और सभ्यता के प्रतीकों, विशेषताओं से अवगत कराने के लिए यहां कोई ऐसी जगह नहीं है, जहां एक छत के नीचे वह सभी पहलुओं से रूबरू हो सके। मंदिर संग्रहालय इस कमी को पूरा करेगा।