Wed. Oct 15th, 2025

श्रीलंकाई नौसेना ने 12 भारतीय मछुआरों को किया गिरफ्तार, नाव को भी किया जब्त

ये मछुआरे गुरुवार तड़के कराईकल मछली पकड़ने वाले बंदरगाह से रवाना हुए थे. शनिवार की रात वे कोडियाकराई (प्वाइंट कैलिमेरे) के दक्षिण में अन्य नावों के साथ मछली पकड़ रहे थे. रविवार तड़के लगभग 2.40 बजे, श्रीलंका की उत्तरी नौसेना कमान के कर्मियों ने इस समूह का सामना किया.

 

जाफना में डेल्फ्ट सागर के किनारे श्रीलंकाई नौसेना ने 12 भारतीय मछुआरों को गिरफ्तार किया. इन मछुआरों पर आरोप है कि इन्होंने मछली पकड़ते समय श्रीलंका की समुद्री सीमाओं का उल्लंघन किया. श्रीलंकाई नौसेना ने मछुआरों की नांव भी जब्त कर ली है. यह कार्रवाई दोनों देशों के रिश्तों पर असर डाल सकती है.

नौसेना ने एक बयान कर जानकारी देते हुए कहा, “28 सितंबर 2025 की तड़के, श्रीलंकाई नौसेना ने जाफना के डेल्फ्ट द्वीप के पास श्रीलंकाई जलक्षेत्र में अवैध शिकार कर रहे एक भारतीय मछली पकड़ने वाली नाव को जब्त कर लिया और 12 भारतीय मछुआरों को गिरफ्तार कर लिया है.” बयान में कहा गया है कि भारतीय मछली पकड़ने वाले अवैध रूप से मछली पकड़ते हुए और श्रीलंकाई जलक्षेत्र में आए थे.

कानूनी कार्यवाही के लिए लिया हिरासत में

मछुआरों और जब्त की गई नाव को कंकसांथुरेई बंदरगाह लाया गया और आगे की कानूनी कार्यवाही के लिए मैलाडी के मत्स्य निरीक्षक को सौंप दिया गया है. भारत की ओर से इस पर अभी कोई अधिकारिक बयान नहीं आया है.

भारतीय मछुआरों पर गोलीबारी की घटना

भारत-श्रीलंका के रिश्तों में मछुआरों का मुद्दा एक विवादास्पद मुद्दा बना हुआ है, यहां तक कि श्रीलंकाई नौसेना के जवानों ने पाक जलडमरूमध्य में भारतीय मछुआरों पर गोलीबारी की है और श्रीलंकाई जलक्षेत्र में अवैध रूप से प्रवेश करने की कई कथित घटनाओं में उनकी नौकाओं को जब्त कर लिया है.

पकड़े जाने वाले मछुआरे कहा के हैं?

टाइम्स ऑफ इंडिया की खबर के मुताबिक गिरफ्तार किए गए मछुआरों में से दस कराईकल जिले के, एक नागपट्टिनम का और एक मयिलादुथुराई का है. नौसेना की ओर से जब्त की गई नाव कराईकल जिले के कोट्टुचेरी मेदु गांव के 44 साल टी. सेल्वम की है.

ये मछुआरे गुरुवार तड़के कराईकल मछली पकड़ने वाले बंदरगाह से रवाना हुए थे. शनिवार की रात वे कोडियाकराई (प्वाइंट कैलिमेरे) के दक्षिण में अन्य नावों के साथ मछली पकड़ रहे थे. रविवार तड़के लगभग 2.40 बजे, श्रीलंका की उत्तरी नौसेना कमान के कर्मियों ने इस समूह का सामना किया.

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