Cheque Bounce Case: चेक बाउंस होने पर कोर्ट ने ठोका 6.96 करोड़ का जुर्माना, जानिए कहां का है पूरा मामला
Cheque Bounce Case: विशेष अदालत ने एक याचिका पर सुनवाई करते हुए कर्नाटक के शिक्षा मंत्री मधु बंगारप्पा को दोषी ठहराते हुए 6.96 करोड़ रुपये का जुर्माना भरने का आदेश दिया है।
Cheque Bounce Case: चेक बाउंस होने के मामले में बेंगलुरु कोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाया है। बेंगलुरु जन प्रतिनिधियों के लिए विशेष अदालत ने एक याचिका पर सुनवाई करते हुए कर्नाटक के शिक्षा मंत्री मधु बंगारप्पा को दोषी ठहराते हुए 6.96 करोड़ रुपये का जुर्माना भरने का आदेश दिया है। 2011 के चेक बाउंस मामले में कोर्ट ने शुक्रवार को यह फैसला सुनाया है। कोर्ट ने कहा है कि जुर्माना नहीं भरने की स्थिति में मंत्री मधु बंगारप्पा को छह महीने की साधारण कैद भुगतनी होगी। इस घटनाक्रम के बाद भारतीय जनता ने उनके इस्तीफे की मांग की है।
बीजेपी ने शिक्षा मंत्री से मांगा इस्तीफा
कर्नाटक के भाजपा अध्यक्ष बी वाई विजयेंद्र ने कहा कि चेक बाउंस मामले में कांग्रेस सरकार के मंत्री को अपराधी घोषित किया गया है। उन्होंने कहा कि यह सरकार की गरिमा और शिक्षा की पवित्रता पर एक काला धब्बा है। बंगारप्पा को नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए अपना इस्तीफा दे देना चाहिए। अन्यथा, मुख्यमंत्री सिद्धारमैया को उनका इस्तीफा मांगना चाहिए।
जानिए क्या है मामला
मंत्री मधु बंगारप्पा को राजेश एक्सपोर्ट्स को 6.96 करोड़ रुपये की लंबित राशि का भुगतान करना था और उन्होंने एक चेक जारी किया था, जो बाउंस हो गया था। बंगारप्पा ने एक वचन पत्र प्रस्तुत किया था कि वह जनवरी 2024 के अंत तक 50 लाख रुपये का भुगतान कर देंगे। लेकिन अदालत ने बाध्य नहीं किया क्योंकि पिछला वचन निराधार हो गया था।
कोर्ट ने ठोका 6.96 लाख का जुर्माना
विशेष कोर्ट ने आदेश दिया था कि जुर्माने की रकम में से 6.96 लाख रुपये शिकायतकर्ता को मुआवजे के तौर पर और 10 हजार रुपये सरकार को दिए जाएं। आकाश ऑडियो-वीडियो प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक के रूप में बंगारप्पा चेक बाउंस मामले में दूसरे आरोपी थे। विशेष अदालत की न्यायाधीश प्रीत जे ने आदेश पारित किया था। कोर्ट ने मामले को खींचने के लिए मंत्री के रवैये की भी आलोचना की थी. बंगारप्पा ने मामले को रद्द करने के लिए उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था, लेकिन उनकी याचिका खारिज कर दी गई थी।